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भगवान शिव के सबसे प्रिय रुद्राक्ष को गौर से देखें तो वह फल की गुठली जैसा दिखाई पड़ता है। रुद्राक्ष भी कई प्रकार के होते हैं और इसके मुख को देखकर ही पता लगाया जा सकता है कि वह कौन सा मुखी रुद्राक्ष है। Char Mukhi Rudraksha जैसा कि इसके नाम से प्रतीत होता है ऐसा रुद्राक्ष जिसके चार मुख हों। 4 face rudraksha चतुर्मुख ब्रह्रा का स्वरूप कहलाता है जिसमें चार वेद का रूप भी शामिल है। यह मनुष्य को धर्म, अर्थ, काम और मोक्ष प्रदान करता है।
आइये जानते हैं char mukhi rudraksha benefits in hindi :
1. Char mukhi rudraksha ke labh में 4 मुखी रुद्राक्ष बुद्धि प्रदान करने वाला रुद्राक्ष कहलाता है यह स्कूली और कॉलेज के छात्रों के लिए बहुत लाभकारी है।
2. अग्निपुराण के अनुसार इसे धारण करने से व्यभिचारी व्यक्ति भी ब्रह्मचारी पथ का पालन करने लगता है।
3. ईश्वर के प्रति श्रद्धाभाव बढ़ाने में यह रुद्राक्ष बहुत बेहतर ढंग से काम करता है।
4. Char Mukhi Rudraksha ke fayde में एक फायदा यह भी है कि इसे धारण करने से नर हत्या जैसे पाप से मुक्ति मिलती है।
5. यह रुद्राक्ष मस्तिष्क विकार, मनोरोग, लकवा, त्वचा रोग, दमा रोगों और नासिका रोग से रक्षा करता है।
4 मुखी रुद्राक्ष कैसे धारण करें? ( how to wear char mukhi rudraksha? )
1. चार मुखी रुद्राक्ष को धारण करने के लिए सबसे शुभ दिन बृहस्पतिवार माना गया है।
2. गुरूवार के दिन प्रातःकाल स्नान कर स्वच्छ वस्त्र धारण करें।
3. इसके बाद घर के मंदिर में दीपक जलाकर उत्तर दिशा की ओर मुख कर बैठ जाएंगे।
4. आसन ग्रहण करने के बाद नीचे दिए गए मंत्र का 108 बार जाप करें।
Char Mukhi Rudraksha Mantra : धारण मंत्र- ‘ॐ ह्रीं नम:’
5. ध्यान रहे इसे धारण करने के बाद नियमित रूप से भगवान शिव की पूजा अवश्य की जानी चाहिए।
चार मुखी रुद्राक्ष धारण करने से भगवान शिव का आशीर्वाद प्राप्त होता है क्योंकि रुद्राक्ष भगवान शिव के अश्रुओं से निर्मित है और यह उन्हें सबसे अधिक प्रिय है। इस रुद्राक्ष को ब्रह्मा का स्वरुप माना गया है। कहते हैं इस संसार में सभी पदार्थों में ब्रह्मा जड़ चेतन के स्वामी हैं। इसे धारण करने से जातक भगवान शिव के साथ-साथ ब्रह्मा जी का आशीर्वाद भी प्राप्त करता है। यदि कोई व्यक्ति मानसिक रोग से पीड़ित हो, पढ़ाई में कमजोर हो, चिंता या अवसाद से घिरा हो तो उसे char mukhi rudraksha hindi अवश्य ही धारण करना चाहिए।
4 मुखी रुद्राक्ष ब्रह्मा जी का स्वरुप माना गया है, इसमें चार वेदों के रूप शामिल हैं। इस रुद्राक्ष के अधिपति ग्रह बुध देव माने जाते हैं इसलिए char mukhi rudraksha mala को शिक्षा क्षेत्र से जुड़े लोगों और छात्रों को धारण करने की सलाह दी जाती है।
चार मुखी रुद्राक्ष को गुरूवार के दिन ब्रह्म मुहूर्त में पूजा पाठ के बाद धारण करना चाहिए क्योंकि अधिक लाभ पाने के लिए char mukhi rudraksha puja विधि के अनुसार पहनना अत्यंत ज़रूरी होता है। अन्यथा इसके लाभ शून्य के बराबर हो जाते हैं।
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